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Haryana: हरियाणा सरकार की इलेक्ट्रिक वाहन खरीद पर सब्सिडी की तैयारी, 6 लाख रुपए तक सस्ती मिलेगी कार

 

Haryana: हरियाणा वासियों के लिए बड़ी खुशखबरी आई है। हरियाणा के लोगों को इलेक्ट्रिक कार खरीदने पर सब्सिडी मिलने वाली है। हरियाणा वासियों को इलेक्ट्रिक वाहनों (EV) पर फिर से छूट मिल सकती है। 

मिली जानकारी के अनुसार, उद्योग-वाणिज्य एवं पर्यावरण मंत्री राव नरबीर सिंह ने संबंधित विभागों के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि 40 लाख रुपए तक के वाहनों को दोबारा सब्सिडी के दायरे में लाया जाए। Haryana News

जानकारी के मुताबिक, दोपहिया वाहनों की खरीद पर कम से कम 15 प्रतिशत की सब्सिडी दी जाए, ताकि मध्यम वर्गीय लोगों को इसका फायदा मिल सके। Haryana News

अगर सरकार यह स्कीम लागू कर देती है तो 2 पहिया इलेक्ट्रिक वाहन पर कम से कम 15 हजार और कार पर 1.50 लाख से 6 लाख रुपए तक का फायदा हो सकता है। 

मिली जानकारी के अनुसार, हरियाणा से सटे दिल्ली में 15 प्रतिशत की छूट मिलती है, इसलिए अधिकतर लोग दिल्ली में अपना EV रजिस्ट्रेशन करवाते हैं। जिससे हरियाणा सरकार को राजस्व का नुकसान होता है। Haryana News

जानकारी के मुताबिक, हरियाणा में सबसे ज्यादा EV गुरुग्राम में रजिस्टर्ड हैं। मंत्री राव नरबीर सिंह ने बताया कि EV पर सब्सिडी को दोबारा बहाल करना जरूरी है, ताकि पर्यावरण हितैषी परिवहन को बढ़ावा मिले। Haryana News

सब्सिडी लागू होने के फायदे...

इनको अहमियत

मिली जानकारी के अनुसार, इलेक्ट्रिक स्कूटर और थ्री-व्हीलर वाहनों को ज्यादा अहमियत देने की प्लानिंग है। ये वाहन महंगी इलेक्ट्रिक कारों की तुलना में डेली ट्रांसपोर्टेशन के लिए ज्यादा जरूरी हैं। यानी कि लोग रोजाना के आने-जाने के लिए इलेक्ट्रिक स्कूटर या तिपहिया वाहनों का ज्यादा इस्तेमाल करते हैं। जबकि महंगी कारें हर किसी के बस की बात नहीं होतीं। सरकार चाहती है कि ऐसी नीतियां बनें जिनसे आम लोगों को फायदा हो। Haryana News

बिक्री में तेजी आएगी

जानकारी के मुताबिक, अगर सरकार की नई नीति लागू होती है तो सस्ती इलेक्ट्रिक कारों की बिक्री में तेजी आएगी। टाटा टियागो EV, टाटा पंच EV, MG कॉमेट EV जैसी किफायती गाड़ियों को सब्सिडी मिलना शुरू होगी। Haryana News

मिली जानकारी के अनुसार, जिससे इनकी ऑन-रोड कीमत कम से कम डेढ़ लाख रुपए कम हो सकती है। इसके अलावा, इलेक्ट्रिक स्कूटर और थ्री-व्हीलर जैसे वाहनों को भी प्राथमिकता देने की योजना है।