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वैश्य इंटरनेशनल स्कूल के प्राचार्य को निर्मला अनुवाद सम्मान 

 

भिवानी

निर्मला स्मृति  साहित्यिक समिति चरखी दादरी कुरुक्षेत्र स्थित प्रेरणा साहित्य एवं शोध संस्थान व हरियाणा साहित्य एवं संस्कृति अकादमी पंचकूला के संयुक्त तत्वाधान में अंतरराष्ट्रीय हिंदी साहित्योत्सव एवं सम्मान समारोह का भव्य आयोजन किया गया जिसमें देश-विदेश के 85 साहित्यकारों को किया सम्मानित किया गया तथा विभिन्न प्रतिष्ठित साहित्यकारों की 15 पुस्तकों का हुआ विमोचन भी किया गया।

इस अंतरराष्ट्रीय  साहित्यिक आयोजन में भिवानी के प्रतिष्ठित साहित्यकार डॉक्टर करतार सिंह जाखड़ को उनकी उत्कृष्ट साहित्यिक सेवाओं के लिए सम्मानित किया गया। डॉ जाखड़ द्वारा हाल ही बाल्मीकि रामायण का अंग्रेजी भाषा में अनुवाद किया जानामुंबई स्थित युवा साहित्यकार जे सीखा द्वारा लिखित द गरुंज ड्रीम्स ऑन ए कन्वस का हिंदी में अनुवाद: एक कैनवास पर गंदे सपना व वह बहुत सारी अन्य रचनाओं का हिंदी से अंग्रेजी वह अंग्रेजी से हिंदी में अनुवाद हुआ है जिससे विभिन्न साहित्यिक संस्थाओं में जाखड़ जी का नाम एक उत्कृष्ट अनुवादक के तौर पर सामने आया है।

सरस्वती वंदना तथा मंचासीन गणमान्यों द्वारा दीप प्रज्ज्वलन के साथ कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ। हरियाणा साहित्य एवं संस्कृति अकादमी के निदेशक डॉ धर्मदेव विद्यार्थी की अध्यक्षता में मुख्य अतिथि पद्मश्री प्रो. रवींद्र कुमार मेरठप्रो. नरेश मिश्र रोहतकप्रो. पूरनचंद टण्डनप्रो लालचंद गुप्त मंगलप्रो. बाबूराम कुरुक्षेत्रडॉ मधुकांतडॉ जयभगवान सिंगलाप्रो पवन अग्रवालप्रो सुशील कुमारडॉ. संजय अनंत दुबई की उपस्थिति में  साहित्यकारोंहिंदी सेवियों को सम्मानित किया गया। निर्मला समिति अध्यक्ष डॉ अशोक कुमार मंगलेश ने सभी अतिथियोंसाहित्यकारों का अभिनंदन एवं स्वागत किया।

प्रो. नरेश मिश्र ने अपने बीज व्यक्तव्य में हिंदी पखवाडे की शुभकामना देते हुए कहा कि हिंदी के भाषावैज्ञानिक एवं वर्ण व्यवस्था पर प्रकाश डाला। प्रो. रवींद्र कुमार ने कहा हिंदी के विकास में अनुवाद की महत्ती भूमिका है तथा वर्तमान में पूरा विश्व हिंदी को लेकर जागरूक है और हिंदी एशिया महादेश में सबसे बड़ी भाषा है। प्रो. लालचंद मंगल ने ऐतिहासिक नगरी कुरुक्षेत्र की विशेषताओं को चरितार्थ करते हुए हिंदी साहित्य के इतिहास पर व्याख्यान दिया। प्रो पूरनचंद टण्डन ने हिंदी का मतलब भारत की संस्कृति तथा भारतीय चिंतन और आर्थिक विकास का सशक्त माध्यम अनुवाद को बताया।

प्रो बाबूराम ने अनुवाद को साहित्य का मेरुदंड कहा तथा हिंदी भाषा को बाजार की सबसे बड़ी भाषा कहा। डॉ धर्मदेव विद्यार्थी ने हरियाणवी लोक साहित्य और हरियाणवी को भाषा बनाने पर बल देते हुए अकादमी की योजनाओं पर प्रकाश डाला।

हिंदी और क्षेत्रीय भाषाओं के अनुवाद पर बोलते हुए डॉ अशोक कुमार मंगलेश ने कहा कि अनुवाद दो भाषाओं का ही नहींअपितु दो संस्कृतियों का होता है। नई शिक्षा नीति के तहत क्षेत्रीय भाषाओं के अनुवाद को बल मिला है। हमें भारतीय भाषाओं के प्रति निष्ठा एवं प्रेम को प्रदर्शित करना होगा जिसका सशक्त माध्यम अनुवाद है। वर्तमान में हरियाणवी और अन्य क्षेत्रीय बोलियों पर प्रचुर मात्रा में सृजन और अनुवाद कार्य हो रहा है। डॉ मधुकांत ने हिंदी और हरियाणवी साहित्य सृजन की श्रेष्ठता पर प्रकाश डालाडॉ जयभगवान सिंगला ने बताया कि हिंदी पूरे विश्व को जोड़ने वाली श्रेष्ठ भाषा हैयह कार्यक्रम इसका प्रमाण है।

मंच से डॉ रवींद्र कुमार को निर्मला अंतरराष्ट्रीय हिंदी सेवा सम्मानप्रो पूरनचंद टण्डन को अंतरराष्ट्रीय भारत भारती हिंदी साहित्य सम्मानप्रो लालचंद गुप्त मंगलप्रो अमृतलाल मदानप्रो बाबूराम को निर्मला आजीवन साहित्य साधना सम्मानडॉ धर्मदेव विद्यार्थीडॉ चितरंजन दयाल कौशलप्रो पवन अग्रवालप्रो सुरेश वशिष्ठरामफल सिंह खटकड़नरेंद्र संतोषी को हिंदी साहित्य शिरोमणि सम्मानप्रो नरेश मिश्र भाषा साहित्यश्री पुरस्कार प्रो हरमहेंद्र सिंह बेदीप्रो पूरनचंद टण्डन अनुवाद साहित्यश्री सम्मान प्रो सुशील कुमार मिजोरमदिनेश कुमार माली ओडिसाप्रो अजित कुमार जैन को रामचंद्र शुक्ल पुरस्कारगोपाल बघेल मधु को महाकवि हरिशंकर आदेश सम्मान दिया गया।

डॉ संजय बाली को महाकवि शम्भूदास स्मृति सम्मान व नीरू मित्तल को इंद्रा स्वप्न स्मृति सम्मानराधा अग्रवाल को अशरफी देवी स्मृति सम्मानजगजीत निराला को धर्मेंद्र गौतम स्मृति सम्मान दिया गया। डॉ रघबीर गोलनडॉ शिव कुमार शर्मा ग्वालियरप्रो प्रणव शास्त्री आगराडॉ प्रदीप कुमारडॉ ममता चौरसिया दिल्लीअमित कुमार मल्ल लखनऊप्रबोध गोविल जयपुरमंजू किशोरवीणा मावर राजस्थानडॉ राकेश चक्र मुरादाबादडॉ अनुज कुमार बोधगयाडॉ मंजुपुरीडॉ कमलेशसुरेश बाबूप्रो राखी उपाध्यायकुमुद वर्माएकता अमित व्यासडॉ हरीश अरोड़ाविवेक रंजन श्रीवास्तवप्रो प्रदीप श्रीधरडॉ पूजा खोरवाल,डॉ तेजेंद्र रोहिला,प्रो प्रवेश कुमारी माता प्रसाद शुक्ल आदि को निर्मला हिंदी साहित्य रत्न पुरस्कार से नवाजा गया।

डॉ राजेश ठाकुर सुनील शर्माडॉ उन्मेष मिश्रगीतिका को निर्मल सामाजिक एवं पत्रकारिता सेवा सम्मानडॉ रामकुमार घोटड़ को संपादन सम्मानविनोद होलकर को रक्तदान भीष्म मधुकांत सम्मानमनोज गौतम को निर्मला उद्बोधन सारस्वत सम्मान तथा कमलेश कुमारीडॉ कंचन मखीजाडॉ विकासकृष्ण लाल रोहतक को साहित्य गौरव से अलंकृत किया गया। लहणा सिंहअनिल पृथ्वीपुत्रसुशीला जांगड़ासत्यबीर निरालाडॉ ज्योतिअर्चना कोचरजयभगवान सैनीजगदीप राही,  को हरियाणवी साहित्य गौरव डॉ करतार सिंह जाखड़गोविंद पालसविता मिश्रपवन गहलोत को अनुवाद साहित्य पुरस्कार तथा सोनू कुमारी को निर्मला शोध साहित्य श्री सम्मान से अलंकृत किया गया। कार्यक्रम का मंच संचालन मनोज गौतम का रहा तथा संयोजन समिति से आशा सिंगलारेणु खुग्गरसुशीला शर्माडॉ सविता शर्मासुरेखाममता गर्गऋचा गौतम आदि का सहयोग रहा।