हिसार।
जिले की ढाणी मिराद गांव की नवनिर्वाचित सरपंच दुर्गी देवी ने फर्जी जाति दस्तावेजों के आधार पर चुनाव लड़ा। महिला चुनाव जीत भी गई, लेकिन पुलिस जांच में जाति प्रमाण पत्र फर्जी पाए जाने पर उसके खिलाफ धोखाधड़ी और षडयंत्र का मामला दर्ज किया है। साथ ही उसके पति सोमबीर और सतीश के खिलाफ बरवाना थाने में मामला दर्ज हुआ है। हालांकि महिला के खिलाफ शिकायत नामांकन दाखिल करने के बाद ही शिकायतकर्ता ने पुलिस को दी थी। जिसकी जांच डीएसपी अशोक कुमार ने की। बता दें कि हिसार में तीसरे फेज में 22 नवंबर को पंचायती चुनाव हुए थे।
शिकायतकर्ता पुनीत इंदौरा ने 14 नवंबर को पुलिस में शिकायत दी थी कि महिला दुर्गी देवी ने एससी जाति की होने के बावजूद बीसी का सर्टिफिकेट बनवाकर गांव में सरपंच पद के लिए आवेदन किया। दुर्गी देवी ने गांव के युवक सोमबीर के साथ लव मैरिज करके करीब 4 साल पहले आई थी। सोमबीर की जाति धानक है जो कि एससी कैटेगरी में आती है। दुर्गी देवी ने अपने पिता अशोक की फैमिली आईडी में भी अपनी जाति कैटेगरी एससी दशाई हुई है।
शादी के बाद दुर्गी देवी ने अपने ही गांव के सरपंच व पटवारी के साथ साजबाज होकर अपने नाम से एक ओबीसी कैटेगरी में नायक जाति का सर्टिफिकेट बनवा लिया था और अब आरोपियों ने दोबारा से अपना एक ओर नया ओबीसी का सर्टिफिकेट अपने गांव के सरपंच व पटवारी से साजबाज होकर बना लिया। जिसका ओबीसी सर्टिफिकेट नंबर OBC/2022/403 है।
पुनीत इंदौरा ने बताया कि सरपंच पद के लिए हमारे गांव ढाणी मिरदाद में बीसी-ए कैटेगरी की रिजर्वेशन आई थी। दुर्गी देवी ने पति सोमबीर और सतीश उर्फ दीपू के साथ साजबाज होकर गांव में सरपंच पद के लिए आवेदन किया है। झूठे दस्तावेज लगाकर ओबीसी सर्टिफिकेट की फाइल बनवा ली और किसी सरल केंद्र पर जाकर उसको ऑनलाइन करवा लिया और तहसील कार्यालय बरवाला से एक फर्जी ओबीसी सर्टिफिकेट बनवा लिया।
डीएसपी अशोक कुमार की जांच में आरोप सही पाए गए, जिस पर पुलिस ने महिला सरपंच व उसके पति सहित एक अन्य के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया।
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