Haryana: हरियाणा में गेहूं-चावल घोटाला, सरकारी गोदाम और राइस मिल से सरकार को लगाया करोड़ों का चूना

 
Haryana: हरियाणा में गेहूं-चावल घोटाला, सरकारी गोदाम और राइस मिल से सरकार को लगाया करोड़ों का चूना

Haryana: हरियाणा से बड़ी खबर सामने आ रही है। हरियाणा के नारायणगढ़ से सरकारी गोदाम से और राइस मिल से करोड़ों रुपये का घोटाला कर दिया गया है। जानकारी के मुताबिक, इस घोटाले से 'रखवालों। ने सरकार को करोड़ों रुपये का चूना लगाने का काम किया है। 

 मिली जानकारी के अनुसार, नारायणगढ़ से सरकारी गोदाम से 10 हजार 40 बोरियां गेहूं की और यहीं स्थित अंबे राइस मिल से 10 हजार 756 क्विंटल धान यानी कुल करीब 28 हजार 682 बोरी धान की बोरियां गायब हो गई। इससे सरकार को गेहूं में करीब 1 करोड़ 14 लाख रुपये और धान में करीब 2 करोड़ 50 लाख रुपये का चूना लगाया गया है। Haryana News

जानकारी के मुताबिक, सरकारी संपत्ति के गबन के मामले में केवल फूड सप्लाई विभाग के इंस्पेक्टर विनोद दूबे और चावल घोटाले में अंबे राइस मिल के संचालक को ही आरोपित बनाया गया है। जबकि इतने बड़े कांड को कोई भी अकेला व्यक्ति अंजाम तक नहीं पहुंचा सकता।

जानकारी के अनुसार, केवल एक ही अधिकारी पर गाज गिराकर इस पूरे प्रकरण की इतिश्री कर दी गई जोकि संभव नहीं है। हैरान करने वाली बात यह है कि केस दर्ज होने के पांच दिन बाद भी दूबे फरार है और पुलिस उसे गिरफ्तार तक नहीं कर सकी। Haryana News

निकला होगा माल

मिली जानकारी के अनुसार, औसतन एक कैंटर में 200 बोरी गेहूं लोड होती हैं। इसी तरह यदि 200 बोरी धान की भी लोड की जाएं तो कम से कम 170-180 कैंटर से कम कैंटर के बिना यह माल गोदाम से बाहर नहीं निकल सकता। Haryana News

धान के एक कट्टे में करीब 37 किलो ही माल आता है यानी एक क्विंटल में करीब 3 प्लास्टिक के कट्टे होते हैं जबकि गेहूं की बोरी 50 किलो की होती है। इस तरह धान की लोडिंग में गेहूं के मुकाबले करीब चार गुणा अधिक कैंटर प्रयोग होते हैं।

अलबत्ता इतने ट्रक सरकारी गोदाम और राइस मिल से माल लेकर निकल गए और किसी को कानोकान भनक तक न लगे यह नहीं हो सकता।

अफसरों की जवाबदेही Haryana News

जानकारी के मुताबिक, बता दें कि गेहूं और धान के भंडारण से लेकर उसके वितरण तक की तमाम जिम्मेदारी सभी की तय होती है। ऐसे में केवल एक फूड सप्लाई इंस्पेक्टर इतने बड़े करोड़ों के फर्जीवाड़े को अकेले अंजाम नहीं दे सकता।

Haryana News छिपाई FIR 

मिली जानकारी के अनुसार, बता दें कि फूड सप्लाई नारायणगढ़ में इंस्पेक्टर विनोद दूबे जोकि इन दोनों कांड में मुख्य सूत्रधार माने जा रहे हैं को आठ दिसंबर 2021 को ACB ने रिश्वतकांड में 20 हजार रुपये के साथ रंगेहाथ गिरफ्तार किया था। इससे पहले पलवल में भी रिश्वतकांड में ही इंस्पेक्टर दूबे को ACB की टीम ने गिरफ्तार किया था।

इतना ही नहीं आरोपित दूबे को कालका में भी इसी तरह के मामले में सस्पेंड किया गया था। इतना सब होने के बावजूद दूबे को करोड़ों के माल की अफसरशाही ने जिम्मेदारी दे दी और उन्हें रखवाला बना दिया यह बात भी किसी को हजम नहीं हो रही। Haryana News

जानकारी के अनुसार, बता दें कि दूबे पर 28 जनवरी को केस दर्ज हुआ था लेकिन इस एफआईआर को भी नारायणगढ़ थाना पुलिस ने हाइड कर दिया। हालांकि ऐसे भ्रष्टाचार के मामलों के ACB की टीम खुद सार्वजनिक करती है लेकिन नारायणगढ़ थाना पुलिस इस तरह के मामलों को हाइड कर सीधे तौर पर कुछ अलग ही संदेश देती दिख रही है।