भिवानी में आंगनवाड़ी वर्करों का प्रदर्शन:बोली- ना सरकार का दिया फोन चलता है और ना ढंग का राशन मिलता है 

 
भिवानी में आंगनवाड़ी वर्करों का प्रदर्शन:बोली- ना सरकार का दिया फोन चलता है और ना ढंग का राशन मिलता है 

भिवानी जिले की आंगनबाड़ी वर्करों ने बुधवार को लघु सचिवालय के बाहर धरना प्रदर्शन किया। वे अपनी मांगों को लेकर 3 दिनों तक धरना देगी। जिसमें मुख्य मांग पोषण ट्रैक्टर पर फेस कैप्चर करने और 3G फोन सही ढंग से काम ना करने की रही। धरने की अध्यक्षता राजबाला निनान और संचालन राजबाला शर्मा ने किया।

जिला प्रधान राजबाला निनान ने कहा कि सरकार 3G फोन देकर वर्कर से 5G काम ले रही है। मानदेय के नाम पर ना बराबर सैलरी देती है। भिवानी जिले में कई ऐसे गांव हैं, जहां पर नेटवर्क की समस्या है। सरकार द्वारा जो फोन दिए हैं, वह हैंग हो जाता है। उसमें फेस कैप्चर करना तो बहुत दूर की बात, फेस कैप्चर करते हुए ओटीपी इनवेलिड बताता है। लाभार्थी 2-2 घंटे तक इंतजार करता रहता है, लेकिन उसका फेस कैप्चर नहीं हो पता है। जिससे वर्कर और लाभार्थियों में मनमुटाव की भावना होने लगी है। सीटू नेता ओमप्रकाश कामरेड ने कहा सरकार वर्कर्स की कोई सुनवाई नहीं कर रही। उनको दबाने के लिए हर प्रयास कर रही है। वर्कर्स को एक होकर सरकार को हड़ताल के द्वारा करारा जवाब देना चाहिए। 

राजबाला शर्मा ने कहा कि आंगनबाड़ी में आने वाला राशन की गुणवत्ता सही ढंग से नहीं आती है। इतना राशन आ जाता है कि लाभार्थियों को एक ही तरह का राशन पूरे महीने दिया जाता है। राशन इतना अधिक आने के कारण मेन्यू के अनुसार नहीं बन पाता। जिसे लाभार्थी नाखुश है। जो नई पंजीरी 3 तरह की आई है, उससे लाभार्थी नाखुश है। गर्मियों में बाजरा कोई नहीं लेना चाहता।

वर्करों को राशन और ऑनलाइन काम और नैपकिन देकर इतना उलझा दिया कि वह आंगनबाड़ी में आने वाले बच्चों पर ध्यान नहीं दे पाते। जिससे बच्चों के माता-पिता भी खुश नहीं है कि बच्चों को आंगनबाड़ी में कुछ सीखने के लिए भेजा जाता था, लेकिन अब वह खुद ही उलझी हुई रहती है। जिससे वर्कर अब उन बच्चों पर ध्यान नहीं दे पा रही है। राजबाला शर्मा ने कहा कि वर्कर को उच्च कोटि के फोन या टैब दिए जाए। सिम और डाटा पूरा उपलब्ध करवाया जाए। वर्कर का 26000 न्यूनतम वेतन किया जाए। वर्कर को सुप्रीम कोर्ट द्वारा जारी हुआ, ग्रेजुएट का फैसला लागू किया जाए।