प्रदेश भर में बिजली की दरों में बढ़ोतरी से आम जनता एवं हर वर्ग के लिए कुठाराघात-कामरेड ओम प्रकाश

प्रदेश की जनता से पांच किलोवाट से अधिक लोड होने पर 6.50 से 7.50 रुपये प्रति यूनिट वसूला जा रहा है।
प्रदेश सरकार द्वारा बिजली की दरों में की गई बढ़ोतरी के कारण CPIM पार्टी ने एक्सन कार्यालय में प्रदर्शन कर ज्ञापन सौंपा। सरकार द्वारा आए दिनों बढ़ते बिजली के बिल जनता पर कुठाराघात। जिसके चलते आमजनमानस एवं हर वर्ग काफी आहत हैं
इस बारे में जानकारी देते हुए कामरेड ओमप्रकाश ने कहा कि प्रदेश सरकार को चाहिए कि वो जनहित में बढ़ाई गई बिजली की दरों में कमी करके राहत प्रदान करे।
उन्होंने सरकार से बिजली की दरों में चुपचाप बढ़ोतरी को वापस लेने की मांग उठाई है। उनका कहना है कि भाजपा ने एक ही झटके में बिजली को चार गुणा तक महंगा कर दिया।
जिन आम परिवारों को लम्बे लम्बे बिजली के बिल देने पड़ते हैं, जनता को अब चार से पांच हजार रुपये बिल थमाया जा रहा है। एक तरफ गर्मी का कहर तो दूसरी तरफ बिजली के कई घंटे के कट और दूसरी तरफ महंगाई की मार झेलनी पड़ रही है। उन्होंने कहा कि आज जनमानस बिजली, पानी जैसी बुनियादी सुविधाएं नहीं मिलने, बिजली की दरें महंगी होने के चलते भारी भरकम बिल की समस्या से जूझ रहे हैं। निगम ने 75 रुपये प्रति किलोवाट फिक्स चार्ज भी इसमें
जोड़ दिया है।
यानी 10 किलोवाट ने कनेक्शन पर अब हर महीने 750 रुपये अतिरिक्त देने पड़ रहे हैं। पहले दरें स्लैबवार थीं। यानी 50 यूनिट या इससे ज्यादा इस्तेमाल पर 2.50 रुपये से 6.30 रुपये प्रति यूनिट खर्च होता था। अब पांच किलोवाट से अधिक लोड होने पर 6.50 से 7.50 रुपये प्रति यूनिट वसूला जा रहा है।
अलग से स्लैब वाइज बिजली के दामों में भी 20 से लेकर 40 पैसे प्रति यूनिट तक बढ़ोतरी हुई है।
जली की बढ़ी दरें पहली अप्रैल से चुपचाप लागू कर दी गई हैं। डॉ.पवन बुवानीवाला ने कहा कि कांग्रेस कार्यकाल के दौरान प्रदेश में चार नए पावर प्लांट और एक न्यूक्लियर पावर प्लांट की स्थापना की गई थी जबकि मौजूदा सरकार में एक भी बिजली
यूनिट उत्पादन का काम नहीं किया गया। बावजूद इसके यह सरकार 10 साल से बिजली की दरों में बढ़ोतरी करती जा रही है।
उन्होंने कहा कि आम जनमानस एवं हर वर्ग में बिजली की दरों में की गई बढ़ोतरी के कारण काफी रोष है इसलिए प्रदेश सरकार को जनहित में इस बढ़ोतरी को वापिस लेना चाहिए।