प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) के नेतृत्व में बुधवार को हुई कैबिनेट बैठक में कई फैसले लिए गए हैं. इस दौरान सरकार ने ‘पीएम विद्यालक्ष्मी योजना’ को हरी झंडी दे दी. कैबिनेट बैठक में वित्त वर्ष 2024-25 से 2030-31 के लिए 3,600 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं. मेधावी छात्रों को वित्तीय सहायता प्रदान करने के लिए केंद्रीय कैबिनेट द्वारा पीएम विद्यालक्ष्मी योजना शुरू की गई है. इस योजना का लक्ष्य है कि कोई भी मेधावी छात्र गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा प्राप्त करने से वंचित न रहे.
हर साल 22 लाख छात्र होंगे लाभान्वित
इससे हर साल 22 लाख से ज्यादा छात्र लाभान्वित होंगे. इस योजना के तहत देश भर के शीर्ष 860 उच्च गुणवत्ता वाले शिक्षण संस्थानों में प्रवेश पाने वाले छात्रों को शिक्षा के लिए ऋण मुहैया कराया जाएगा. इस प्रक्रिया को बेहद सुविधाजनक और आसान बनाया जाएगा, ताकि वंचित हर मेधावी छात्र की पढ़ाई सुचारू रूप से जारी रह सके. इसके लिए पूरी प्रक्रिया को सरल, पारदर्शी और छात्र-अनुकूल बनाने के लिए डिजिटल आवेदन प्रणाली शुरू की जाएगी. इतना मिलेगा लोन
इस योजना के तहत देशभर के गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा संस्थानों में छात्रों को ट्यूशन फीस की पूरी राशि, कोर्स से जुड़े सभी खर्चों को कवर करने के लिए बैंकों और वित्तीय संस्थानों से बंधक-मुक्त और गारंटर-मुक्त लोन मुहैया कराया जाएगा।
कैबिनेट बैठक के बाद जानकारी देते हुए केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि इस योजना के तहत जिन छात्रों के परिवार की सालाना आय 8 लाख रुपये तक है, उन्हें 3% की ब्याज सब्सिडी के तहत 10 लाख रुपये का लोन दिया जाएगा। इसके अलावा 7.5 लाख रुपये तक के लोन पर सरकार की ओर से 75% क्रेडिट गारंटी दी जाएगी।