जींद।
जींद जिले के गांव लिजवाना कलां में एक 30 वर्षीय युवक दीपक की संदिग्ध हालत में मौत हो गई। गुरुवार सुबह जब उसके शव को अंतिम संस्कार के लिए चिता पर लेटाया गया तो पुलिस मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने युवक का अंतिम संस्कार करने से परिजनों को रोक दिया। शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए अस्पताल भेजा।
जुलाना थाना SHO समरजीत ने कहा कि युवक की हत्या की आशंका है। मामले को छुपाने के लिए चुपचाप अंतिम संस्कार किया जा रहा है। ग्रामीणों ने चिता से शव उठाने का विरोध भी किया। ग्रामीणों ने दावा किया कि उसकी हत्या नहीं की गई, बल्कि हृदय गति रुकने से इसकी मौत हुई है। अब पोस्टमार्टम रिपोर्ट से युवक की मौत के कारण का खुलासा होगा।
बताया गया है कि गांव लिजवाना कलां निवासी दीपक की बुधवार रात को संदिग्ध हालात में मौत हो गई थी। परिवार के लोग दीपक के शव को लेकर श्मशान घाट पहुंच गए और उपलों की चिता बनाकर शव को उस पर रखा हुआ था। उसको मुखाग्नि देने की प्रक्रिया चल ही रही थी कि जुलाना थाना प्रभारी समरजीत सिंह दल बल के साथ मौके पर पहुंच गए। एसएचओ ने ग्रामीणों से कहा कि वे पोस्टमार्टम के बिना शव का अंतिम संस्कार नहीं कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि उनके पास इनपुट आया है कि दीपक के साथ मारपीट की गई है और उसके बाद ही उसकी मौत हुई है, इसलिए इस मामले मे शव का पोस्टमॉर्टम करवाना बेहद जरूरी है।
पुलिस ओर ग्रामीणों में यहां काफी बहस हुई। ग्रामीण शव को उठाने के पक्ष में नहीं थे, जबकि पुलिस उसे पोस्टमार्टम के लिए ले जाने पर अड़ी थी। पुलिस ने ग्रामीणों को देर तक समझाया और कहा कि अगर उनके पास सूचना पहुंच गई है तो शव का बिना पोस्टमॉर्टम करवाए अंतिम संस्कार नहीं हो सकता है।
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